आज हम एक ऐसे उत्पाद के बारे में चर्चा करेंगे ,जो इन दिनों की भयंकर तेज धुप से त्वचा को स्वास्थ्य रखने के लिए अत्यन्त आवश्यक है | वैसे सूर्य हमारे जीवनदायक है | यह एक निर्विवाद सत्य है की धुप की थोड़ी सी मात्रा न सिर्फ हमारे सम्पूर्ण स्वास्थ्य के लिए लाभदायक है साथ ही हमारी हड्डियों के लिए जरुरी विटामिन डी की भी आपूर्ति करती है | लेकिन विज्ञानं इस तथ्य को भी प्रमाणित करता है की धुप की ज्यादा मात्रा भी हमें न सिर्फ बाहरी तौर से वृद्ध बनाती है अपितु त्वचा सम्बन्धी कई अन्य समस्याएं भी उत्पन्न करती है | साधारण शब्दों में सूर्य से निकली पराबैंगनी किरणों को प्रकाश के तरंग आयाम ( Wave Length) के आधार पर वैज्ञानिक तीन भागों में विभक्त करते है :- UVA, UVB और UVC | इनमे से UVC के संपर्क में ज्यादा देर तक रहना त्वचा के लिए घातक सिद्ध हो सकता है | सौभाग्य से वायुमंडल में उपस्थित कुछ गैसों के कारण UVC पृथ्वी पर पहुँचने से पहले ही सोख लेते है |
ऐसे में बाजार में उपलब्ध सनस्क्रीन के अवयव ज्यादातर UVB को सोख कर उन्हें ठीक उसी तरह से त्वचा में प्रवेश करने से रोक देते है जिस प्रकार से वायुमंडल में उपस्थित अवयव UVC को पृथ्वी पर पहुँचाने से पहले सोख लेते है |
लेकिन हमारी त्वचा को फोटो एजिंग और त्वचा कैंसर का विकास जैसी क्षति पहुँचाने में पराबैंगनी किरणों UVA की महत्वपूर्ण होती है | ज्यादातर सनस्क्रीन क्रीमों के द्वारा UVB को तो रोका जा सकता है पर UVA को रोकने वाली ऐसी क्रीम बहूत कम उपलब्ध है | आधुनिक अनुसंधानों से यह पता चल रहा है की किस तरह से सनस्क्रीन त्वचा की रक्षा करने में सहायक होते है | ऐसे सनस्क्रीन सूर्य की किरणों को तवचा से सोखकर, वापस फेंककर या फैलाकर कार्य करते है |
सनस्क्रीन को दो भागों में बांटा जा सकता है :- प्राकृतिक सनब्लाक्स तथा जिंक एवं टिटेनियम व केमिकल सनस्क्रीन एजेंट्स | जहाँ प्राकृतिक सनस्क्रीन पराबैंगनी किरणों की भौतिक अवरोधक के रूप में कार्य करते है वहीँ केमिकल सनस्क्रीन पराबैंगनी किरणों को सोखकर उन्हें त्वचा के तंतुओं (Tissues) में निष्क्रिय करते है | प्राकृतिक सनब्लाक्स द्वारा विषैले रसायनों से मुक्त एस. पी. एफ. सुरक्षा मिलती है |
एस. पी. एफ. का मतलब है सन प्रोटेक्शन फैक्टर यानि धुप से बचाव के सहायक तत्व | ये आपकी त्वचा के जलन होने में लगने वाले समय एवं एस. पी. एफ. सुरक्षा संख्या की गुना के बराबर के समय को दर्शाता है | मान लीजिये की आपकी त्वचा बिना सनस्क्रीन के ५ मिनट में जल जाती है तो SPF 15 के साथ अब ऐसा होने में ७५ मिनट लगेंगे | लेकिन वास्तव में SPF 15 और SPF 30 की सूर्य की पराबैंगनी किरणों की शोधन करने की शक्ति में अंतर सूक्ष्म होता है | तात्पर्य यह है की यदि SPF 15 की शोधन शक्ति यदि ९६% है तो SPF 30 की तक़रीबन ९८% होगी | तो सामान्यतः एक SPF 30 वाली प्राकृतिक सनब्लाक सूर्य से बचाव के लिए पूर्ण रूप से प्रयाप्त है |
पर सनस्क्रीन फोरेवेर्लिविंग का ही क्यूँ प्रयोग करें ? बहूत ही अच्छा सवाल है | क्यूंकि कोई भी सनस्क्रीन एक ऐसा उत्पाद है जिसे आपको अपने दिन के ज्यादातर समय में महीने दर महीने ,साल दर साल प्रयोग करना है ,इसलिए ये महत्वपूर्ण है की ऐसा उत्पाद लिया जाय जो न सिर्फ हमारी त्वचा की सुरक्षा प्रदान करें बल्कि अन्दर तक ख्याल भी रखें और आराम भी पहुंचाये | फॉर एवर एलो सनस्क्रीन यह सब कुछ एक साथ देता है | आधुनिक विज्ञानं की सहायता से अधिकाधिक प्राकृतिक तत्वों को मिलकर यह एक ऐसा सनस्क्रीन है जो आपकी त्वचा को आराम पहुंचाता है, तरलता और नमी प्रदान करता है और साथ ही धुप और हवा के दुष्प्रभावों से आपकी रक्षा करता है | SPF 30 युक्त फार्मूला फॉर एवर एलो सनस्क्रीन प्रभावशाली ढंग से UVA और UVB किरणों को रोकता है और स्थिरीकरण एलो जैल की खूबियों के कारण इसका कोमल और चिकना त्वचा के प्राकृतिक संतुलन को बनाने में सहायक होता है | अच्छे परिणाम पाने के लिए, आप इसका प्रयोग धुप में निकलने के 15-20 मिनट पहले करें |
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